ప్రధానమంత్రి శ్రీ నరేంద్ర మోదీ వీడియో కాన్ఫరెన్సింగ్ ద్వారా గుజరాత్ లోని సోమనాథ్ లో పలు ప్రాజెక్టులను ప్రారంభించి, శంకుస్థాపన చేశారు. సోమనాథ్ విహారయాత్రా కేంద్రం, సోమనాథ్ ఎగ్జిబిషన్ సెంటర్, పాత (జునా) సోమనాథ్ లో పునర్నిర్మించిన దేవాలయం ఆ ప్రాజెక్టుల్లో ఉన్నాయి. దీనికి తోడు ఈ సందర్భంగా ప్రధానమంత్రి శ్రీ పార్వతి దేవాలయానికి శంకుస్థాపన చేశారు. శ్రీ లాల్ కృష్ణ అద్వానీ, కేంద్ర హోం మంత్రి, గుజరాత్ ముఖ్యమంత్రి, ఉపముఖ్యమంత్రి ఈ కార్యక్రమంలో పాల్గొన్నారు.
రూ.3.5 కోట్ల పెట్టుబడితో శ్రీ సోమనాథ్ ట్రస్ట్ ప్రాచీన (జునా) సోమనాథ్ ఆలయ ప్రాంగణ పునర్నిర్మాణం పూర్తయింది. పురాతన దేవాలయ శిథిలాలను కనుగొన్న ఇండోర్ రాణి అహల్యాబాయి నిర్మించిన కారణంగా దీన్ని అహల్యాబాయి దేవాలయంగా కూడా పిలుస్తారు. తీర్థయాత్రికుల భద్రత, విస్తరించిన సందర్శకుల సామర్థ్యంతో పాత దేవాలయ ప్రాంగణం అంతటినీ సంపూర్ణంగా అభివృద్ధి చేశారు.
Somnath Temple is integral to our culture and ethos. Inaugurating development works there. #JaySomnath. https://t.co/yE8cLz2RmX
— Narendra Modi (@narendramodi) August 20, 2021
आज मुझे समुद्र दर्शन पथ, सोमनाथ प्रदर्शन गैलरी और जीर्णोद्धार के बाद नए स्वरूप में जूना सोमनाथ मंदिर के लोकार्पण का सौभाग्य मिला है।
— PMO India (@PMOIndia) August 20, 2021
साथ ही आज पार्वती माता मंदिर का शिलान्यास भी हुआ है: PM @narendramodi #JaySomnath
आज मैं लौह पुरुष सरदार पटेल जी के चरणों में भी नमन करता हूँ जिन्होंने भारत के प्राचीन गौरव को पुनर्जीवित करने की इच्छाशक्ति दिखाई।
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सरदार साहब, सोमनाथ मंदिर को स्वतंत्र भारत की स्वतंत्र भावना से जुड़ा हुआ मानते थे: PM @narendramodi #JaySomnath
आज मैं, लोकमाता अहिल्याबाई होल्कर को भी प्रणाम करता हूँ जिन्होंने विश्वनाथ से लेकर सोमनाथ तक, कितने ही मंदिरों का जीर्णोद्धार कराया।
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प्राचीनता और आधुनिकता का जो संगम उनके जीवन में था, आज देश उसे अपना आदर्श मानकर आगे बढ़ रहा है: PM @narendramodi #JaySomnath
ये शिव ही हैं जो विनाश में भी विकास का बीज अंकुरित करते हैं, संहार में भी सृजन को जन्म देते हैं।
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इसलिए शिव अविनाशी हैं, अव्यक्त हैं और अनादि हैं।
शिव में हमारी आस्था हमें समय की सीमाओं से परे हमारे अस्तित्व का बोध कराती है, हमें समय की चुनौतियों से जूझने की शक्ति देती है: PM
इस मंदिर को सैकड़ों सालों के इतिहास में कितनी ही बार तोड़ा गया, यहाँ की मूर्तियों को खंडित किया गया, इसका अस्तित्व मिटाने की हर कोशिश की गई।
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लेकिन इसे जितनी भी बार गिराया गया, ये उतनी ही बार उठ खड़ा हुआ: PM @narendramodi #JaySomnath
जो तोड़ने वाली शक्तियाँ हैं, जो आतंक के बलबूते साम्राज्य खड़ा करने वाली सोच है, वो किसी कालखंड में कुछ समय के लिए भले हावी हो जाएं लेकिन, उसका अस्तित्व कभी स्थायी नहीं होता, वो ज्यादा दिनों तक मानवता को दबाकर नहीं रख सकती: PM @narendramodi
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हमारी सोच होनी चाहिए इतिहास से सीखकर वर्तमान को सुधारने की, एक नया भविष्य बनाने की।
— PMO India (@PMOIndia) August 20, 2021
इसलिए, जब मैं ‘भारत जोड़ो आंदोलन’ की बात करता हूँ तो उसका भाव केवल भौगोलिक या वैचारिक जुड़ाव तक सीमित नहीं है।
ये भविष्य के भारत के निर्माण के लिए हमें हमारे अतीत से जोड़ने का भी संकल्प है: PM
पश्चिम में सोमनाथ और नागेश्वर से लेकर पूरब में बैद्यनाथ तक,
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उत्तर में बाबा केदारनाथ से लेकर दक्षिण में भारत के अंतिम छोर पर विराजमान श्री रामेश्वर तक,
ये 12 ज्योतिर्लिंग पूरे भारत को आपस में पिरोने का काम करते हैं: PM @narendramodi #JaySomnath
इसी तरह, हमारे चार धामों की व्यवस्था, हमारे शक्तिपीठों की संकल्पना, हमारे अलग अलग कोनों में अलग-अलग तीर्थों की स्थापना,
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हमारी आस्था की ये रूपरेखा वास्तव में ‘एक भारत, श्रेष्ठ भारत’ की भावना की ही अभिव्यक्ति है: PM @narendramodi #JaySomnath
पर्यटन के जरिए आज देश सामान्य मानवी को न केवल जोड़ रहा है, बल्कि खुद भी आगे बढ़ रहा है।
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इसी का परिणाम है कि 2013 में देश Travel & Tourism Competitiveness Index में जहां 65th स्थान पर था, वहीं 2019 में 34th स्थान पर आ गया: PM @narendramodi
आज मुझे समुद्र दर्शन पथ, सोमनाथ प्रदर्शन गैलरी और जीर्णोद्धार के बाद नए स्वरूप में जूना सोमनाथ मंदिर के लोकार्पण का सुअवसर मिला है। आज पार्वती माता मंदिर का शिलान्यास भी हुआ है।
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यह हमारा सौभाग्य है कि आज आजादी के 75वें साल में हम सरदार साहब के प्रयासों को आगे बढ़ा रहे हैं। pic.twitter.com/4pGr6E6LW6
हमारी सोच होनी चाहिए- इतिहास से सीखकर वर्तमान को सुधारने की, एक नया भविष्य बनाने की।
— Narendra Modi (@narendramodi) August 20, 2021
इसीलिए, जब मैं ‘भारत जोड़ो आंदोलन’ की बात करता हूं तो उसका भाव केवल भौगोलिक या वैचारिक जुड़ाव तक सीमित नहीं है।
यह भविष्य के भारत के निर्माण के लिए हमें अपने अतीत से जोड़ने का भी संकल्प है। pic.twitter.com/v9LiLDjVUf
हमारे लिए इतिहास और आस्था का मूलभाव है- सबका साथ, सबका विकास, सबका विश्वास और सबका प्रयास। वास्तव में यह ‘एक भारत, श्रेष्ठ भारत’ की भावना की ही अभिव्यक्ति है। pic.twitter.com/wSGN852TdH
— Narendra Modi (@narendramodi) August 20, 2021
सोमनाथ मंदिर की नई परियोजनाएं पर्यटकों और भक्तों को इस ऐतिहासिक स्थल की दिव्यता और भव्यता की अनुभूति कराने वाली हैं।
— Narendra Modi (@narendramodi) August 20, 2021
यहां आने वाले लोग जहां मंदिर की वास्तुकला से परिचित होंगे, वहीं पर्यटकों की संख्या में वृद्धि होने से रोजगार के अवसर भी बढ़ेंगे। pic.twitter.com/3gfewCcXxs