प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने आज असम के तिनसुकिया जिले में ओआईएल इंडिया लिमिटेड तेल कूप से गैस रिसाव और तेल कूप संख्या बाग़जन-5 में आग से उत्पन्न स्थिति की समीक्षा की।
समीक्षा बैठक में गृह मंत्री श्री अमित शाह,पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्री श्री धर्मेंद्र प्रधान, असम के मुख्यमंत्री श्री सर्बानंद सोनोवाल, अन्य केंद्रीय मंत्रियों और भारत सरकार के वरिष्ठ अधिकारियों ने भाग लिया।
इस कुएं से अनियंत्रित गैस का रिसाव 27 मई, 2020 को शुरू हो गया था। इसके बाद रिसाव को नियंत्रित करने के लिए जब तैयारी चल रही थी तो 9 जून, 2020 को कुएं में आग लग गई। इसके आसपास के इलाकों में रहने वाले परिवारों को वहां से हटा दिया गया और ओआईएल इंडिया लिमिटेड के सहयोग से राज्य सरकार ने राहत शिविर स्थापित किए। इन राहत शिविरों में लगभग 9,000 लोग रह रहे हैं। जिला प्रशासन द्वारा चिन्हित 1610 परिवारों में से प्रत्येक के लिए तत्काल राहत के रूप में 30,000 रुपये स्वीकृत किए गए हैं।
प्रधानमंत्री ने असम के लोगों को असम के मुख्यमंत्री के माध्यम से आश्वासन दिया है कि भारत सरकार पीड़ित परिवारों को सहायता और राहत एवं पुनर्वास प्रदान करने के लिए पूरी तरह से प्रतिबद्ध है और इस दुर्भाग्यपूर्ण घटना की वजह से उत्पन्न इस कठिन समय में राज्य सरकार के साथ खड़ी है। उन्होंने पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्रालय को भी निर्देश दिया कि वह इस घटना का अध्ययन करे और इसका दस्तावेज भी तैयार रखे ताकि भविष्य में यह उपयोगी साबित हो सके। उन्होंने कहा कि भविष्य में इस तरह की दुर्घटनाओं से बचने और ऐसी आपदाओं से निपटने के लिए हमारे संगठनों के भीतर और अधिक क्षमता और विशेषज्ञता विकसित की जानी चाहिए।
समीक्षा बैठक के दौरान यह बताया गया कि कुएं से गैस के प्रवाह को नियंत्रित करने और इसे बंद करने के लिएभारतीय और विदेशी विशेषज्ञों की मदद से विस्तृत योजना तैयार की गई है। इस योजना को तय कार्यक्रम के अनुसार क्रियान्वित किया जा रहा है और सभी आवश्यक सुरक्षा सावधानियां बरतने के बाद 7 जुलाई, 2020 को इस कुएं को बंद कर दिया जाएगा।
Reviewed the situation in the wake of the Baghjan fire tragedy in Assam. Centre and state government are working to ensure proper relief and rehabilitation to those affected. https://t.co/X0Cz6bVUDS
— Narendra Modi (@narendramodi) June 18, 2020