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मंत्रिमडल ने तिरुपति और बेरहामपुर में आईआईएसईआर के स्‍थायी परिसरों की स्‍थापना और संचालन को मंजूरी दी


प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी की अध्यक्षता में केन्द्रीय मंत्रिमंडल ने तिरुपति (आंध्र प्रदेश) तथा बेरहामपुर (ओडिशा) में भारतीय विज्ञान शिक्षा और अनुसंधान संस्‍थान (आईआईएसईआर) के नये परिसरों की स्‍थापना और संचालन को अपनी स्‍वीकृति दे दी है। इस पर 3074.12 करोड़ रुपये (गैर आवर्ती 2366.48 करोड़ रुपये तथा आवर्ती 707.64 करोड़ रुपये) की लागत आएगी।

मंत्रिमंडल ने  प्रत्‍येक आईआईएसईआर में सातवें सीपीसी के स्‍तर 14 में रजिस्‍ट्रार के दो पदों के सृजन के लिए अपनी मंजूरी दे दी है।

विवरण:

कुल 3074.12 करोड़ रुपये का लागत मूल्‍यांकन किया गया है। इसमें से निम्‍नलिखित विवरण के अनुसार इन संस्‍थानों के स्‍थायी परिसर के निर्माण पर 2366.48 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे :

आईआईएसईआर तिरुपति 1137.16 354.18 1491.34
आईआईएसईआर बेरहामपुर 1229.32 353.46 1582.78
कुल 2366.48 707.64 3074.12
संस्‍थान पूंजी आवर्ती कुल

प्रत्‍येक आईआईएसईआर में 1855 विद्यार्थियों के लिए दोनों परिसर 1,17,000 वर्ग मीटर क्षेत्र में बनाए जाएंगे जिसमें सभी आधारभूत सुविधाएं प्रदान की जाएंगी।

दोनों संस्‍थानों के स्‍थायी परिसरों का निर्माण दिसम्‍बर 2021 तक पूरा होगा।

लाभ:

भारतीय विज्ञान शिक्षा और अनुसंधान संस्‍थान (आईआईएसईआर) स्‍नातक और स्‍नातकोत्‍तर स्‍तरों पीएचडी और एकीकृत पीएचडी पाठ्यक्रम में उच्‍चस्‍तरीय विज्ञान शिक्षा प्रदान करेंगे। दोनों संस्‍थान विज्ञान के अग्रणी क्षेत्रों में शोध कार्य करेंगे। आईआईएसईआर श्रेष्‍ठ वैज्ञानिक प्रतिभा फैकल्‍टी के रूप में आकर्षित करके भारत को ज्ञान अर्थव्‍यवस्‍था की ओर ले जाने में सहायता करेंगे और भारत में वैज्ञानिक मानव शक्ति का मजबूत आधार तैयार करेंगे।

पृष्‍ठभूमि :

आईआईएसईआर तिरुपति 2015 में आंध्र प्रदेश पुनर्गठन अधिनियम, 2014 के अनुसार स्‍थापित किया गया जबकि आईआईएसईआर बेरहामपुर की स्‍थापना 2016 में हुई। केन्‍द्रीय वित्‍त मंत्री ने 2015 के अपने बजट भाषण में इसकी स्‍थापना की घोषणा की थी। दोनों संस्‍थान अभी अस्‍थायी परिसरों से काम कर रहे हैं।